Poems
Monday, 9 March 2020
एक श्लोकी रामायण
आदौ रामतपोवनादि गमनं हत्वा मृगं कांचनं,
वैदेहीहरणं जटायू मरणं सुग्रीव सम्भाषणम् ।
बाली निर्दलनं समुद्रतरणं लंकापुरी दाहनम्
पश्चाद् रावणकुम्भकर्णहननम् एतद्धि रामायणम् ।।
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